In the government primary school of Gram Panchayat Son, the head teacher is making the children work like laborers
मस्तुरी।शिक्षा विभाग से ग्राम पंचायत सोन के शासकीय प्राथमिक शाला में प्रधान पाठीका के द्वारा बच्चों से मजदूरों की तरह कराया जा रहा काम आप सोच सकते हैं क्या ऐसे में पढ़ेंगे बच्चे पालक अपने बच्चो को शिक्षा ग्रहण करने स्कूल भेजते हैं ताकि कुछ उनके बच्चे पढ लिखकर कुछ बन सके शिक्षित हो सके लेकिन ग्राम पंचायत सोन के शासकीय प्राथमिक शाला के प्रधान पाठिका के द्वारा छोटे छोटे बच्चो से मजदूरों की तरह काम करवाया गया विद्यालय के बच्चों से 50 कि. के चावल की बोरी को राशन दुकान से 200 मीटर से चलकर सायकल से बच्चे को चावल धूल वाते है दो कुंटल चावल को बच्चे ने चार बार मे राशन दुकान से स्कूल ले कर आया जिसका वीडियो वायरल तेजी से हो रहा है। जिससे शिक्षा विभाग के कार्य शैली पर सवालिया निशान खड़े हो रहे हैं।
महिला समूह के महिलाओं से चावल की कटौती की जाती है
सोन के शासकीय प्राथमिक शाला में महिला समूह के द्वारा समूह के महिलाओं ने आरोप लगाते हुए कहा कि प्रधान पाठिका के द्वारा हर महीने कटौती करके हमें चावल दिया जाता है जिससे बच्चों का भोजन पकाने के लिए पर्याप्त मात्रा नहीं मिल पाती।
प्राथमिक शाला सोन के छात्र खमेश पटेल,तथा देवचरण पटेल, अरुण पटेल ने बताया की हम लोगों को प्रधान पार्टी का के द्वारा पैसे का प्रलोभन दे कर तथा धमकी दे कर हर महीने चावल का दुलवाई करवाया करवाया जाता है।
प्राथमिक शाला के शिक्षिका ने कहा कि मैं भी यहां बच्चों को पढ़ाती हूं लेकिन ऐसे दुर्व्यवहार नहीं करती जैसे कि हमारे प्रधान पाठिका करती है
शासकीय प्राथमिक शाला के प्रधान पाठिका साहू ने बताया कि मस्तुरी बीओ सर ने कहा कि अभि जो हो गया सो हो गया अब ऐसा मत करना गलत है कह कर उनके द्वारा चेतावनी दी गई।
मस्तूरी बीओ
आई पी सोनवानी से इस विषय पर जानकारी लेने पर बताया कि यह सही बात है की प्रधान पाठिका के द्वारा बच्चों से चावल का धुलवाई करवाया जा रहा था हमने मौके पर जाकर जांच किया तो प्रधान पाठिका को चेतावनी देकर दोबारा नहीं करने को कहा।
तथा प्रतिवेदन तैयार करशिक्षा अधिकारी बिलासपुर को भेज दिया है।