EC released new data of electoral bonds on its website, lottery king Santiago Martin donated Rs 509 crore to DMK, new data revealed,
चुनाव आयोग ने रविवार को लोगों के खरीदे और राजनीतिक दलों की तरफ से भुनाए गए चुनावी बॉन्ड को लेकर नया डेटा सार्वजनिक किया है. इससे यह खुलासा हुआ कि किस पार्टी को कितनी रकम इलेक्टोरल बॉन्ड्स के रूप में मिली हैं. पिछले महीने सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को ऐतिहासिक फैसले में राजनीति में फंडिंग के लिए लाई गई चुनावी बॉन्ड योजना को रद्द कर दिया था. कोर्ट ने कहा कि यह संविधान की तरफ से मिले सूचना के अधिकार और बोलने व अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के अधिकार का उल्लंघन करती है.
साल 2019-20 में BJP को 2555 करोड़ का चंदा
नए डेटा के अनुसार भारतीय जनता पार्टी ने कुल 6,986.5 करोड़ रुपये के इलेक्टोरल बॉन्ड कैश करवाए. पार्टी को 2019-20 में सबसे ज्यादा 2,555 करोड़ रुपये मिले. कांग्रेस ने इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए कुल 1,334.35 करोड़ कैश करवाए. बीआरएस चुनावी बॉन्ड के माध्यम से चौथी सबसे बड़ी चंदा पाने वाली पार्टी थी, जिसने 1,322 करोड़ रुपये के बॉन्ड कैश करवाए.
डीएमके को फ्यूचर गेमिंग से मिले ₹509 करोड़
डीएमके को इलेक्टोरल बॉन्ड के माध्यम से 656.5 करोड़ रुपये मिले, जिसमें लॉटरी किंग सैंटियागो मार्टिन के फ्यूचर गेमिंग से ₹509 करोड़ भी शामिल हैं. इलेक्टोरल बॉन्ड के माध्यम से तृणमूल कांग्रेस को 1,397 करोड़ रुपये मिले, जिससे वह भाजपा के बाद दूसरी सबसे बड़ी चंदा लेने वाली पार्टी बन गई.
समाजवादी पार्टी (सपा) को चुनावी बॉन्ड के जरिए ₹14.05 करोड़, अकाली दल को ₹7.26 करोड़, ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (AIADMK) को ₹6.05 करोड़, नेशनल कॉन्फ्रेंस को ₹50 लाख मिले. रिपोर्ट के अनुसार बीजेडी को 944.5 करोड़ रुपये, वाईएसआर कांग्रेस को 442.8 करोड़ रुपये, टीडीपी को 181.35 करोड़ रुपये का दान इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए मिला.
कौन है लॉटरी किंग सैंटियागो मार्टिन
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लॉटरी किंग के नाम से मशहूर फ्यूचर गेमिंग एंड होटल्स के फाउंडर का नाम सैंटियागो मार्टिन है, जिसे भारत का लॉटरी किंग भी कहा जाता है. यह कंपनी अभी देश के एक दर्जन से ज्यादा राज्यों में ऑपरेट कर रही है, जहां लॉटरी कानूनी तौर पर वैध है. फ्यूचर गेमिंग का कारोबार मुख्य रूप से दक्षिण भारत और पूर्वोत्तर भारत में फैला हुआ है. दक्षिण भारत में कंपनी मार्टिन कर्नाटक नामक सब्सिडियरी के माध्यम से काम करती है, जबकि पूर्वोत्तर भारत में मार्टिन सिक्किम लॉटरी सब्सिडियरी के जरिए चलती है.
कंपनी की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के अनुसार, वह अभी देश के 13 राज्यों अरुणाचल प्रदेश, असम, गोवा, केरल, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, पंजाब, सिक्किम और पश्चिम बंगाल में काम कर रही है. उसके पास 1000 से ज्यादा कर्मचारी हैं. कंपनी नागालैंड और सिक्किम में डियर लॉटरी की अकेली डिस्ट्रिब्यूटर है.