Now you will be able to see clearly, information about sugar and salt on food packets will be visible in bold and big letters
नई दिल्ली। फूड आइटम के पैकेट पर कुल चीनी, नमक और संतृप्त वसा (Sugar, salt and saturated fat) को लेकर अब सभी जानकारियां साफ नजर आएंगी।
दरअसल, फूड आइटम के पैकेट पर पोषण से जुड़ी जानकारियों को लेकर भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (Food Safety and Standards Authority of India) की ओर से एक नए प्रस्ताव को लेकर मंजूरी मिल चुकी है।
पोषण से जुड़ी जानकारियां बोल्ड अक्षरों में आए नजर
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय (MoHFW) ने शनिवार को जानकारी देते हुए कहा है कि मंजूरी मिल चुके इस प्रस्ताव में फूड आइटम के पैकट पर पोषण से जुड़ी जानकारियों को बोल्ड और बड़े आकार के फॉन्ट के साथ डिस्प्ले किए जाने की बात कही गई है।
मंत्रालय ने कहा कि “अनुशंसित आहार भत्ते (Recommended Dietary Allowances) में प्रति सर्व प्रतिशत योगदान के बारे में जानकारी कुल चीनी, कुल संतृप्त वसा और सोडियम सामग्री के लिए मोटे अक्षरों में दी जाएगी।”
खाद्य प्राधिकरण की 44वीं बैठक में लिया गया फैसला
खाद्य सुरक्षा और मानक (लेबलिंग और प्रदर्शन) विनियम, 2020 में संशोधन करने का यह फैसला खाद्य प्राधिकरण (Food Authority) की 44वीं बैठक में लिया गया। विनियम 2 (v) और 5(3) खाद्य उत्पाद लेबल पर सर्विंग साइज और पोषण संबंधी जानकारी का उल्लेख करने की आवश्यकताओं को दर्शाते हैं।
उपभोक्ता उत्पाद के पोषण मूल्य को बेहतर ढंग से समझें
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने कहा, “संशोधन का उद्देश्य उपभोक्ताओं को उनके द्वारा उपभोग किए जा रहे उत्पाद के पोषण मूल्य को बेहतर ढंग से समझने और स्वस्थ निर्णय लेने के लिए सशक्त बनाना है।”
दरअसल, स्वास्थ्य सेवा और पोषण विशेषज्ञ चीनी, नमक और संतृप्त वसा से भरपूर पैकेज्ड फूड आइटम के सेवन पर अंकुश लगाने की आवश्यकता पर जोर दे रहे हैं।
जानकारों के मुताबिक, पोषण से जुड़ी ये सभी चीजें एनसीडी (non-communicable Diseases) के बढ़ने का कारण हैं।
यह प्रस्ताव “लोगों को स्वस्थ विकल्प चुनने के साथ-साथ एनसीडी से निपटने और सार्वजनिक स्वास्थ्य और कल्याण को बढ़ावा देने के प्रयासों में योगदान करने में सक्षम करेगा।”
भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण द्वारा इस संशोधन को लेकर सुझाव और आपत्तियां आमंत्रित करने के लिए ड्राफ्ट नोटिफिकेशन सार्वजनिक डोमेन में साझा करने की भी अपेक्षा की गई है।
भ्रामक दावों को रोकने को सक्रिय हुआ एफएसएसएआई
FSSAI झूठे और भ्रामक दावों को रोकने के लिए समय-समय पर सलाह जारी करता रहा है. इनमें ‘हेल्थ ड्रिंक’ (Health Drink) शब्द को हटाने के लिए ई-कॉमर्स वेबसाइट को भेजी गई सलाह शामिल है क्योंकि यह एफएसएस अधिनियम 2006 या उसके तहत बनाए गए नियमों/विनियमों के तहत कहीं भी परिभाषित या मानकीकृत नहीं है.
फूड बिजनेस ऑपरेटर्स (FBO) को फ्रूट जूस के लेवल और विज्ञापनों से शत- प्रतिशत फलों के रस जैसे दावे को तुरंत प्रभाव से हटाने का निर्देश भी दिया गया है. अगर किसी जूस में मिलाए गए स्वीटनर 15 ग्राम प्रति किलो से अधिक है, तो उस उत्पाद को स्वीटेड जूस के रूप में लेबल करने का फैसला लिया गया है.
मोटे अक्षरों में देनी होगी जानकारी
इस संशोधन से संबंधित मसौदा अधिसूचना अब सुझावों एवं आपत्तियों को आमंत्रित करने के उद्देश्य से पब्लिक डोमेन में रखा जाएगा. कुल चीनी, कुल संतृप्त वसा और सोडियम सामग्री की जानकारी प्रतिशत में दी जाएगी और इसे मोटे और बड़े अक्षरों में लिखा जाएगा.
आपको बता दें कि एफएसएसएआई झूठे और भ्रामक दावों को रोकने के लिए समय-समय पर सलाह जारी करता है. इनमें ‘हेल्थ ड्रिंक’ शब्द को हटाने के लिए ई-कॉमर्स वेबसाइट को भेजी गई सलाह शामिल है.
इसके अलावा, सभी खाद्य व्यवसाय ऑपरेटरों (एफबीओ) को फलों के रस के लेबल एवं विज्ञापनों से ‘शत-प्रतिशत फलों के रस’ से संबंधित किसी भी दावे, गेहूं का आटा/परिष्कृत गेहूं का आटा जैसे शब्द के उपयोग, खाद्य वनस्पति तेल आदि के लिए पोषक तत्व संबंधी दावे को हटाना अनिवार्य करने का निर्देश दिया गया है. ये सलाह और निर्देश एफबीओ द्वारा भ्रामक दावों को रोकने के लिए जारी किए गए हैं.
खतरनाक है पैक्ड फूड
मार्केट में तमाम ऐसे प्रोडक्ट बिकते हैं, जिनकी पैकेजिंग तो हेल्थी चॉइस के रूप में होती है, लेकिन उनमें कई ऐसे इंग्रेडिएंट्स होते हैं, जो नुकसान पहुंचाते हैं. हालांकि, सभी प्रोडक्ट्स खुद को हेल्दी बताकर ही अपनी मार्केटिंग करते हैं. आप कभी भी कोई पैकेज्ड फूड खरीदते हैं तो उसके लिए लेबल जरूर चैक करना चाहिए.
पैक्ड फूड को लंबे समय तक सुरक्षित बनाएं रखने के लिए इसमें केमिकल का इस्तेमाल किया जाता है जो हमारे शरीर के लिए हानिकारक होते हैं.
कई तरह के पैक्ड फूड में सोडियम की मात्रा बहुत ज्यादा होती है इसलिए इन्हें खरीदते समय न्यूट्रीशियस फैक्ट्स को जरूर चेक कर लें.
जिन डिब्बाबंद खाने की चीजों में फ्रक्टोज कॉर्न सीरप और नमक मौजूद हो ऐसी खाने की चीजों को न खरीदें या इनका इस्तेमाल कम करें.
पैक्ड केक, कुकीज, हाई कैलोरी चिप्स, कैंडी आदि चीजों को लेबल देखकर ही खरीदें.
फ्रेश न होने के कारण ऐसी खाने की चीजों में पोषक पदार्थों की कमी होती है और इनमें कार्बोहाइड्रेट की मात्रा भी बहुत अधिक होती है.